बचपन में नानी की ज़ुबानी
कहानी सुनी
फिर बड़े शान से मुस्कुराती
करवट ले
कुछ यूँ वो थी बुदबुदाती
लो हुआ क़िस्सा ख़त्म
कहानी सुनी
फिर बड़े शान से मुस्कुराती
करवट ले
कुछ यूँ वो थी बुदबुदाती
लो हुआ क़िस्सा ख़त्म
कहानी हज़म ...
तो अब भी है आस
तो अब भी है आस
जो अटल रहे नियम
अब हुआ हमारा क़िस्सा ख़त्म -
बस मन को इस के
बस मन को इस के
सार के हज़्म
होने का इंतज़ार है 😊
होने का इंतज़ार है 😊
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